ब्रिटिश विश्वविद्यालय वियतनाम की प्रोफेसर ज्योत्सना ने संगम विश्वविधालय के प्रबंधन के विद्यार्थियों और फैकल्टी से मिलकर नैतिक वित्त पर गहराई से चर्चा की। विश्वविधालय कुलपति प्रोफेसर करुणेश सक्सेना ने विश्वविधालय के नए आयामों के बारे में बताया और साथ ही हाल ही मे हुए अंतर्राष्ट्रीय समझोता पत्र के बारे में जिक्र करते हुए बताया की प्रबंधन के विद्यार्थियों के लिए य़ह बहुत ही कारगर साबित होगा। प्रबंधन के अधिष्ठाता प्रोफेसर विभोर पालीवाल ने प्रबंध संकाय के द्वारा गुणवत्ता सुधार हेतु किए गए अनूठी पहल के बारे मे संक्षिप्त में जानकारी प्रदान की। सेशन की मुख्य वक्ता प्रोफेसर ज्योत्सना ने बताया कि आधुनिक समय में वित्तीय निर्णयों में नैतिकता की मांग बढ़ रही है और इसका समर्थन करना अहम है। यह समाचार नैतिक वित्त के महत्वपूर्ण आधारभूत तत्वों पर विचार करने का एक महत्वपूर्ण पहलु है, जिससे समृद्धि के साथ सामाजिक समर्थन को बढ़ावा मिल सकता है।इसी श्रंखला में दूसरे प्रोफेसर डा अंचित, स्कूल ऑफ कंप्यूटिंग एंड इन्नोवेटिव टेक्नोलॉजी ब्रिटिश यूनिवर्सिटी वियतनाम ,साइबर सिक्योरिटी स्पेशलिस्ट ने स्कूल ऑफ इंजीनियरिंग विभाग के कंप्यूटर साइंस के छात्र छात्राओं ,फैकल्टी के साथ संवाद किया तथा शोध,प्रोजेक्ट,प्रोजेक्ट फंडिंग,साइबर सिक्योरिटी,आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस आदि पर अपने विचार रखे।इंजिनियरिंग विभाग के सभी सदस्यों के साथ बैठक का आयोजन किया गया और नवीन शोध के ऊपर स्वस्थ चर्चा की गई है।स्कूल ऑफ इंजीनियरिंग डीन प्रो आरके सोमानी ने विभाग की तरफ से प्रोफेसर अंचित का स्वागत किया।विश्वविद्यालय के कुलपति प्रो.करुणेश सक्सेना की शैक्षणिक वियतनाम यात्रा के दौरान ब्रिटिश विश्वविद्यालय वियतनाम के साथ एमओयू किया गया जिसके अंतर्गत दोनों ही विश्वविद्यालय के आपसी समन्वय से यह निर्धारित कर सके हैं कि दोनों ही विश्वविद्यालय के व्याख्याता गण एक दूसरे के विश्वविद्यालय में व्याख्यान हेतु जाएंगे और आएंगे ।प्रो वीसी प्रोफ़ेसर मानस रंजन पाणिग्रही ने बताया कि शोध और शैक्षणिक गुणवत्ता को बढ़ाने के लिए यह साझा प्रयास अत्यंत ही सराहनीय है। कुलपति प्रो करुणेश सक्सेना ने शैक्षणिक गतिविधियों को बढ़ाने के लिए, गुणवत्ता को और अधिक मज़बूत करने के लिए इस प्रस्ताव तथा एमओयू का स्वागत किया।